अडानी समूह का बड़ा ऐलान: अगले 5 साल में ₹1.6 ट्रिलियन तक का निवेश, विवादों के बीच बही-खाते का बखान
अडानी समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी ने घोषणा की है कि समूह अगले पांच वर्षों में अपने विभिन्न कारोबारों में 15-20 अरब डॉलर (लगभग ₹1.25 लाख करोड़ से ₹1.66 लाख करोड़) का रिकॉर्ड निवेश करेगा। उन्होंने समूह पर लगे आरोपों के बावजूद मजबूत वित्तीय स्थिति और पारदर्शिता का दावा किया।

अडानी समूह के चेयरमैन गौतम अदाणी ने मंगलवार को ऐलान किया कि समूह अगले पाँच वर्षों में अपने विभिन्न व्यवसायों में 15-20 अरब डॉलर (लगभग ₹1.25 लाख करोड़ से ₹1.66 लाख करोड़) का रिकॉर्ड निवेश करेगा। यह निवेश समूह के विकास के अगले चरण का खाका तैयार करने के लिए किया जाएगा। अदाणी ने समूह पर लगातार चल रही जाँचों के बीच भी अपने मजबूत बही-खाते और वित्तीय स्थिति का बखान किया।
समूह के प्रदर्शन और भविष्य की योजनाएं
अदाणी ने बताया कि बंदरगाहों से लेकर हवाई अड्डों, नवीकरणीय ऊर्जा पार्क से लेकर डेटा सेंटर, सीमेंट से लेकर गैस और बिजली तक के व्यवसायों से हुई रिकॉर्ड आय ने भारत के सबसे बड़े बुनियादी ढांचा समूह का निर्माण किया है। उन्होंने कहा कि यह समूह न केवल बाजारों की सेवा के लिए, बल्कि राष्ट्र के भविष्य के निर्माण में योगदान के लिए मौजूद है।
अदाणी ने कहा, "समेकित आंकड़ों के संदर्भ में समूह-स्तर पर राजस्व में सात प्रतिशत, कर पूर्व आय में 8.2 प्रतिशत की वृद्धि हुई है… कुल राजस्व 2,71,664 करोड़ रुपये और समायोजित कर पूर्व आय 89,806 करोड़ रुपये रही।"
अमेरिकी आरोपों पर अदाणी की सफाई
समूह की वार्षिक आम बैठक को ऑनलाइन संबोधित करते हुए, गौतम अदाणी ने अक्षय ऊर्जा आपूर्ति ठेके हासिल करने के लिए कथित रिश्वतखोरी योजना में अमेरिकी अधिकारियों द्वारा हाल ही में अभियोग चलाए जाने का भी उल्लेख किया। उन्होंने स्पष्ट किया कि अडानी समूह के किसी भी व्यक्ति पर अमेरिकी विदेशी भ्रष्ट आचरण अधिनियम (FCPA) का उल्लंघन करने या न्याय में बाधा डालने की साजिश रचने का आरोप नहीं लगाया गया है।
उन्होंने कहा, "लगातार जांच के बावजूद भी अडानी समूह कभी पीछे नहीं हटा। इसके बजाय, हमने साबित कर दिया कि सच्चा नेतृत्व धूप में नहीं बल्कि संकट की आग में तपकर तैयार होता है।" अदाणी ने यह भी कहा कि "हम कानूनी प्रक्रियाओं में सहयोग कर रहे हैं। मैं दोहराना चाहता हूं कि हम कामकाज में वैश्विक मानकों का पालन करते हैं और उनका अनुपालन करने में कोई समझौता नहीं किया जा सकता है।"
गौरतलब है कि जनवरी 2023 में अमेरिकी अनुसंधान एवं निवेश कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च ने अपनी एक रिपोर्ट में अदाणी समूह पर कॉर्पोरेट इतिहास की सबसे बड़ी धोखाधड़ी का आरोप लगाया था, जिससे समूह को 150 अरब अमेरिकी डॉलर से अधिक का नुकसान हुआ था। अडानी समूह ने इन आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि उन्होंने आगे बढ़ने के अपने प्रयासों पर ध्यान दिया, जिसके परिणामस्वरूप इसकी अधिकतर कंपनियों के शेयरों में सुधार हुआ है और समूह ने रिकॉर्ड आय दर्ज की है।
एशिया के दूसरे सबसे अमीर व्यक्ति का दृष्टिकोण
रिलायंस के चेयरमैन मुकेश अंबानी के बाद एशिया के दूसरे सबसे अमीर व्यक्ति गौतम अदाणी ने कहा कि उनके समूह का उद्देश्य सिर्फ कारोबार बढ़ाना नहीं बल्कि नई संभावनाएं उत्पन्न करना भी है। उन्होंने कहा, "इस संदर्भ में व्यवसायों में हमारा पूंजी निवेश सभी रिकॉर्ड तोड़ने वाला है। हम अगले पांच वर्षों के लिए 15-20 अरब अमेरिकी डॉलर के वार्षिक पूंजीगत व्यय की उम्मीद करते हैं। यह केवल हमारे समूह में निवेश नहीं है, बल्कि भारत के बुनियादी ढांचे के निर्माण में हमारे योगदान की संभावनाओं में निवेश है।"
यह बड़ा निवेश समूह की महत्वाकांक्षी विस्तार योजनाओं और भारत के बुनियादी ढांचा क्षेत्र में उसकी महत्वपूर्ण भूमिका को दर्शाता है।