लखनऊ: उत्तर प्रदेश में तबादलों में 'घूसखोरी' की शिकायतें एक बार फिर सामने आने के बाद हड़कंप मच गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र के विधायक और राज्य के स्टांप एवं रजिस्ट्रेशन मंत्री रवींद्र जायसवाल ने तत्काल प्रभाव से 89 सब रजिस्ट्रारों और 114 लिपिकों के तबादलों को स्थगित कर दिया है। यह कार्रवाई तबादलों में अनियमितता और 'घूसखोरी' की गंभीर शिकायतों के बाद की गई है।
प्रमुख सचिव ने आईजी के आदेश को किया स्थगित
दरअसल, तबादलों में हुई कथित धांधली की शिकायतें मिलने के बाद, विभाग के प्रमुख सचिव अमित गुप्ता ने तत्परता दिखाते हुए आईजी (इंस्पेक्टर जनरल) के तबादला आदेश को स्थगित करने का निर्देश दिया। इसके बाद मंत्री रवींद्र जायसवाल ने इस पर अंतिम मुहर लगाई और सभी संबंधित तबादलों को रद्द कर दिया।
यह मामला दिखाता है कि योगी सरकार में भ्रष्टाचार के खिलाफ ज़ीरो टॉलरेंस की नीति लगातार लागू है और किसी भी स्तर पर अनियमितता पाए जाने पर तत्काल कार्रवाई की जा रही है। इस कदम से विभाग में पारदर्शिता बहाल होने और कर्मचारियों के बीच गलत संदेश जाने से रोकने में मदद मिलेगी।