Maharashtra News : डोंबिवली में हैवानियत: 15 साल की बच्ची से दुष्कर्म, गर्भपात, वेश्यावृत्ति, 4 गिरफ्तार
ठाणे के डोंबिवली में 15 वर्षीय किशोरी को परिचित ने दो महीने बंधक बनाकर दुष्कर्म किया, गर्भपात कराया और वेश्यावृत्ति में धकेला, पुलिस ने 4 को गिरफ्तार किया।

महाराष्ट्र के ठाणे जिले के डोंबिवली में एक जघन्य अपराध का मामला सामने आया है। यहां एक 15 वर्षीय किशोरी को उसके परिवार के ही एक परिचित व्यक्ति ने दो महीने तक एक घर में बंधक बनाकर रखा, उसके साथ कई बार दुष्कर्म किया, फिर उसे गर्भपात कराने के लिए मजबूर किया और अंततः उसे वेश्यावृत्ति के दलदल में धकेल दिया। पुलिस ने इस मामले में त्वरित कार्रवाई करते हुए एक महिला समेत चार लोगों को गिरफ्तार किया है, जबकि मुख्य आरोपी अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर है।
पुलिस अधिकारी ने इस भयावह घटना की जानकारी देते हुए बताया कि लड़की की आपबीती तब सामने आई जब कुछ जागरूक श्रमिकों को इस बारे में पता चला। उन्होंने तत्काल इसकी सूचना तिलक नगर पुलिस को दी, जिसके बाद पुलिस ने डोंबिवली के ग्रामीण इलाके में स्थित एक घर पर छापा मारकर पीड़िता को बचाया।
क्या है पूरा मामला?
पुलिस जांच में सामने आया कि पीड़िता की मां फेरी लगाकर खाने-पीने का सामान बेचती है। इसी दौरान उसकी मुलाकात मुख्य आरोपी से हुई, जो मसाला बेचने का काम करता था। आरोपी पीड़िता के परिवार को पहले से जानता था। पुलिस के अनुसार, जब पीड़िता का 10वीं कक्षा की परीक्षा के बाद अपनी मां से किसी बात पर झगड़ा हो गया और वह गुस्से में घर से निकल गई, तो मुख्य आरोपी ने उसे बहला-फुसलाकर अपने साथ चलने के लिए मना लिया।
दो महीने तक बंधक बनाकर किया शोषण
पुलिस अधिकारी ने बताया कि इसके बाद आरोपी ने किशोरी को दो महीने तक एक अज्ञात स्थान पर बंधक बनाकर रखा और इस दौरान उसका बार-बार यौन शोषण किया। जब पीड़िता गर्भवती हो गई, तो आरोपी उसे जबरदस्ती गर्भपात कराने के लिए किसी अन्य व्यक्ति के पास ले गया। इसके बाद, आरोपी ने उसे एक दंपति के घर में रखा, जहां उसे वेश्यावृत्ति करने के लिए मजबूर किया गया और उसका शारीरिक तथा मानसिक उत्पीड़न किया गया।
मुख्य आरोपी ने परिवार को किया गुमराह
पीड़िता के घरवाले जब अपनी बेटी की तलाश कर रहे थे, तो मुख्य आरोपी ने उन्हें गुमराह करने की हर संभव कोशिश की। उसने परिवार को झूठी जानकारी दी कि उसने लड़की को शहर में देखा था, लेकिन वह नाराज है और घर वापस नहीं आना चाहती। इस तरह आरोपी ने दो महीने तक पीड़िता के परिवार को अंधेरे में रखा। आखिरकार, जब परिवार को कुछ संदेह हुआ, तो उन्होंने दो महीने बाद पुलिस से संपर्क किया और अपनी बेटी के लापता होने की शिकायत दर्ज कराई।
पुलिस अधिकारी ने बताया कि पीड़िता ने पुलिस को अपनी दर्दनाक आपबीती सुनाई, जिसके बाद पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए एक महिला और उसके पति समेत चार लोगों को गिरफ्तार कर लिया। हालांकि, इस घिनौने अपराध का मुख्य आरोपी अभी भी फरार है, और पुलिस उसकी तलाश में जुटी हुई है।
पुलिस ने दर्ज किया गंभीर धाराओं में मुकदमा
डोंबिवली के सहायक पुलिस आयुक्त सुहास हेमाडे ने इस मामले की जानकारी देते हुए बताया कि पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता की धारा 137(2) (अपहरण), 65(1) (कुछ मामलों में बलात्कार), 88 (गर्भपात कराना), 143 (मानव तस्करी), 144 (मानव तस्करी के लिए भेजे गए मानव का शोषण) के साथ-साथ यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पोक्सो) अधिनियम और अनैतिक व्यापार (रोकथाम) अधिनियम के प्रासंगिक प्रावधानों के तहत मामला दर्ज किया है। उन्होंने यह भी बताया कि पुलिस की टीमें इस गंभीर अपराध की आगे की गहन जांच कर रही हैं और फरार मुख्य आरोपी को जल्द से जल्द गिरफ्तार करने के प्रयास जारी हैं। यह घटना समाज में व्याप्त अपराध और महिलाओं तथा बच्चों की सुरक्षा के प्रति एक गंभीर सवाल खड़ा करती है।