ITR भरने की बढ़ी डेडलाइन! सैलरीड क्लास के लिए ये 6 नए नियम जानना जरूरी
आयकर विभाग ने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए ITR भरने की आखिरी तारीख 15 सितंबर तक बढ़ा दी है। सैलरीड और पुराने टैक्स सिस्टम वालों के लिए HRA, 80C, 80D, 80E, 80EE/80EEA, 80EEB से जुड़े 6 बड़े बदलाव हुए हैं, जिन्हें जानना जरूरी है।

आयकर विभाग की ओर से वित्त वर्ष 2024-25 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न भरने की आखिरी तारीख को बढ़ा दिया गया है। इस बार असेसमेंट ईयर 2025-26 के लिए आईटीआर दाखिल करने की डेट को बढ़ाकर 15 सितंबर, 2025 कर दिया गया है। डेट को आगे बढ़ाने का कारण नियमों में बदलाव को बताया गया है। आइए हम आपको उन 6 बदलावों के बारे में बताते हैं, जिनका असर खास तौर पर सैलरीड लोगों और पुराने टैक्स सिस्टम का लाभ उठाने वाले लोगों पर पड़ेगा। आईटीआर दाखिल करने से पहले इन नियमों को जरूर देख लें, वरना आपको नुकसान हो सकता है।
1. HRA के तहत छूट:
आयकर विभाग की ओर से ओल्ड टैक्स रिजीम के तहत मिलने वाली छूट से जुड़े नियमों में बदलाव किया गया है। अब HRA क्लेम करने वालों को ये डिटेल देनी होंगी:
- काम की जगह वास्तविक प्राप्त HRA
- वास्तविक भुगतान किया गया किराया
- मूल वेतन और महंगाई भत्ता
- मूल वेतन का 50% या 40%
2. सेक्शन 80C कटौती:
अब करदाताओं को धारा 80C के तहत टैक्स कटौती का दावा करने के लिए पॉलिसी नंबर या दस्तावेज की पहचान संख्या बतानी होगी। धारा 80C के तहत योग्य करदाता PPF, टैक्स सेविंग FD, जीवन बीमा पॉलिसी जैसे निवेशों पर 1.5 लाख रुपये तक की टैक्स कटौती ले सकते हैं।
3. सेक्शन 80D:
स्वास्थ्य बीमा के लिए धारा 80D के तहत टैक्स कटौती का दावा करने वाले करदाताओं को ये जानकारी देनी होगी:
- बीमा कंपनी का नाम
- पॉलिसी या दस्तावेज संख्या
4. सेक्शन 80E:
शिक्षा लोन के ब्याज पर धारा 80E के तहत टैक्स कटौती के लिए ये डिटेल देना जरूरी है:
- लोन देने वाले का नाम
- बैंक का नाम
- लोन खाता संख्या
- लोन स्वीकृति की तारीख
- कुल लोन राशि
- 31 मार्च, 2025 तक बकाया लोन
- लोन का ब्याज
5. सेक्शन 80EE/80EEA:
घर के लोन पर ब्याज के लिए धारा 80EE या 80EEA के तहत टैक्स कटौती लेने के लिए ये जानकारी देनी होगी:
- लोन देने वाले का नाम
- बैंक का नाम
- लोन खाता संख्या
- लोन स्वीकृति की तारीख
- कुल लोन राशि
- 31 मार्च, 2025 तक बकाया लोन
6. सेक्शन 80EEB:
इलेक्ट्रिक वाहन लोन के ब्याज पर धारा 80EEB के तहत टैक्स कटौती के लिए ये डिटेल देना होगा:
- लोन देने वाले का नाम
- बैंक का नाम
- लोन खाता संख्या
- लोन अप्रूव की तारीख
- कुल लोन राशि
- 31 मार्च, 2025 तक बकाया लोन
इन नए नियमों को ध्यान में रखते हुए ही अपना इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करें ताकि किसी भी तरह की परेशानी से बचा जा सके।