अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरण रिजीजू ने लॉन्च किया 'UMEED' पोर्टल: 6 महीने में होगा सभी वक्फ संपत्तियों का रजिस्ट्रेशन, पारदर्शिता पर ज़ोर

अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरण रिजीजू ने 'UMEED' पोर्टल लॉन्च किया है, जो देशभर में वक्फ संपत्तियों के पंजीकरण के लिए एक केंद्रीय मंच है। इस पोर्टल के तहत सभी वक्फ संपत्तियों को 6 महीने के भीतर पंजीकृत कराना होगा, जिसका उद्देश्य बेहतर प्रबंधन और पारदर्शिता लाना है।

अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरण रिजीजू ने लॉन्च किया 'UMEED' पोर्टल: 6 महीने में होगा सभी वक्फ संपत्तियों का रजिस्ट्रेशन, पारदर्शिता पर ज़ोर
उम्मीद पोर्टल हुआ लॉन्च

अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरण रिजीजू ने शुक्रवार (आज, 6 जून 2025) को UMEED पोर्टल लॉन्च किया। यह एक केंद्रीय पोर्टल है, जिस पर देशभर में मौजूद वक्फ संपत्तियों का पंजीकरण किया जाएगा। इस महत्वपूर्ण कदम के तहत अब सभी वक्फ प्रॉपर्टीज को 6 महीने के अंदर रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य होगा।

यह पोर्टल 'UMEED' (UNIFIED WAQF MANAGMENT, EMPOWERMENT, EFFICIENCY AND DEVELOPMENT ACT 1995) के तहत बनाया गया है, जिसका पूरा नाम यूनिफाइड वक्फ मैनेजमेंट, एम्पावरमेंट, एफिशिएंसी और डेवलपमेंट है। पारदर्शिता और सुगमता सुनिश्चित करने के लिए पंजीकरण प्रक्रिया मोबाइल और ईमेल आईडी के माध्यम से सत्यापित की जाएगी।

रजिस्ट्रेशन के लिए तीन-स्तरीय प्रणाली होगी: मेकर – चेकर – अप्रूवर। 'मेकर' वक्फ प्रॉपर्टी का मुतावल्ली होगा, जिसे राज्यों या केंद्र शासित प्रदेशों के वक्फ बोर्ड तय करेंगे। 'चेकर' जिला स्तर के अधिकारी होंगे, जिन्हें वक्फ बोर्ड अधिकृत करेगा। अंत में, प्रॉपर्टी का वेरिफिकेशन सीईओ या बोर्ड की ओर से अधिकृत अधिकारी 'अप्रूव' करेंगे।


रिजीजू ने मुसलमानों को दी बधाई, बताया बड़ा कदम

पोर्टल लॉन्च किए जाने के मौके पर किरण रिजीजू ने कहा, "UMEED पोर्टल लॉन्च करने पर देशभर में वक्फ प्रॉपर्टीज से जुड़े और आम मुसलमानों को बधाई देना चाहता हूं। आज का ये UMEED पोर्टल का लॉन्च बहुत बड़ा कदम है। पीएम ने पहले भी कहा है कि आजादी के बाद देश में रिफॉर्म का काम वक्फ में हुआ है। ये करोड़ों लोगों की जिंदगी को फायदा पहुंचाने के लिए बड़ा कदम है।"

उन्होंने आगे कहा, "संसद से पास करने से पहले स्टेकहोल्डर्स से चर्चा हुई, जेपीसी में भेजा और सदन में रिकॉर्ड चर्चा हुई। बिल पारित करके एक्ट बना। हमने पहले भी कहा था कि इसे लेट नहीं करेंगे और इसे जल्द लागू करेंगे। पहला इंप्लीमेंट का प्रोसेस आज शुरू हो गया है। वक्फ प्रॉपर्टीज पर कोई कब्जा न हो और पारदर्शी तरीके से काम हो सके।"

रिजीजू ने जोर दिया कि "मुस्लिमों में गरीब, यतीम और विधवाओं को ये बहुत काम आएगा। वक्फ प्रॉपर्टी का मैनेजमेंट काम आने वाला है। देश भर में 9 लाख प्रॉपर्टी हैं।" उन्होंने बताया कि एक्ट में बहुत सारी चीजें हैं, जैसे 6 महीने में रजिस्ट्रेशन करना है। किसी को कोई परेशानी न हो, उसका सब प्रावधान रखा गया है। उन्होंने सभी से अपील की कि तय की गई गाइडलाइंस के मुताबिक काम करें। "समय से रजिस्ट्रेशन नहीं करेंगे तो ट्रिब्यूनल जाना पड़ेगा," उन्होंने चेतावनी दी। मंत्री ने कहा, "लोगों को पता ही नहीं था कि देशभर में 9 लाख प्रॉपर्टी हैं जो दुनिया में हमारे पास है।"


"विरोध करने वालों को लोकतांत्रिक अधिकार"

विरोध की संभावना पर रिजीजू ने कहा, "विरोध करने वालों को लोकतांत्रिक अधिकार है। विरोध राजनीतिक कारणों और जानकारी के अभाव में हो सकता है, लेकिन अब सब मिलकर काम करें।" उन्होंने प्रधानमंत्री के 'सबका साथ सबका विकास' के कार्यक्रम का जिक्र करते हुए कहा कि करोड़ों मुसलमान गरीबी में दबे रहेंगे जबकि इतनी संपत्ति मौजूद है। "हमारी प्राथमिकता और लक्ष्य होना चाहिए," उन्होंने कहा। UMEED पोर्टल लॉन्च होने के बाद समझाने के लिए प्रोग्राम भी किए जाएंगे।


6 महीने में अनिवार्य रजिस्ट्रेशन और डिजिटल प्रक्रिया

सरकार के मुताबिक, UMEED पोर्टल एक संवैधानिक पोर्टल है, जिस पर 6 महीने के अंदर संपत्ति का रजिस्ट्रेशन कराना होगा। OTP के जरिए रजिस्ट्रेशन किया जा सकता है और संपत्ति का सत्यापन तीन स्तरों पर किया जाएगा। हर एक वक्फ को 17 डिजिट की ID दी जाएगी। साथ ही, एक सेंट्रलाइज्ड हेल्पलाइन भी जारी की जाएगी। यह पोर्टल IT एक्ट की धाराओं के तहत संचालित होगा।

सरकार का लक्ष्य 'UMEED' पोर्टल के माध्यम से वक्फ संपत्तियों के बेहतर प्रबंधन और पारदर्शिता को बढ़ावा देना है, जिससे इन संपत्तियों का लाभ समाज के जरूरतमंद वर्गों तक पहुँच सके।