Varanasi Ropeway News : वाराणसी में रोपवे निर्माण रुका , गोदौलिया में शाही नाला मिलने से हड़कंप, होटल और दुकानें खाली कराने के आदेश ?
वाराणसी के गोदौलिया में पीएम के ड्रीम प्रोजेक्ट रोपवे का काम रुक गया। टावर की पाइलिंग के दौरन ज़मीन से 100 साल पुराना शाही नाला मिला, जिसके बाद होटल और दुकानें खाली कराई जा रही हैं।

Varanasi Ropeway News : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ड्रीम प्रोजेक्ट, वाराणसी रोपवे के निर्माण कार्य को गोदौलिया क्षेत्र में अचानक रोकना पड़ा है। टावर नंबर 29 की पाइलिंग के दौरान ज़मीन के भीतर से ऐतिहासिक शाही नाला निकल आया, जिसे नगर आयुक्त घोड़ा नाला बता रहे हैं। इस अप्रत्याशित खोज के बाद क्षेत्र में हड़कंप मच गया और कई एक्सपर्ट्स की टीम नाले की पुष्टि में जुट गई है।
अधिकारियों की आनन-फानन में कार्रवाई
सोमवार (16 जून 2025) को शाही नाला मिलने की सूचना मिलते ही नगर आयुक्त अक्षत वर्मा, एडीएम सिटी आलोक वर्मा, और जलकल विभाग के वरिष्ठ अधिकारी तुरंत मौके पर पहुँचे। उन्होंने तत्काल प्रभाव से रोपवे निर्माण रोकने के निर्देश दिए और नाले के आसपास मौजूद दुकानों और मकानों को खाली कराया। सबसे ज़्यादा खतरा एक छह मंज़िला होटल व रेस्टोरेंट को है, जो कथित तौर पर इसी शाही नाले के ऊपर बना है। उसे भी नोटिस देकर खाली कराने की तैयारी चल रही है।
अधिकारियों ने बताया कि रोपवे निर्माण में हैवी मशीनों का इस्तेमाल होता है, जिनके कंपन और ध्वनि से कोई भी अनहोनी हो सकती थी। इसी कारण जल्द से जल्द उस स्थान से दुकानों और मकानों को खाली कराया गया।
निर्माण एजेंसियों ने लगाया आरोप, नक्शे पर उठे सवाल
रोपवे प्रोजेक्ट के तहत कैंट से गोदौलिया तक पाँच स्टेशनों का निर्माण हो रहा है। गोदौलिया स्टेशन के पास टावर नंबर 29 की पाइलिंग शुरू होते ही ज़मीन धंसने जैसी स्थिति सामने आई। जाँच में स्पष्ट हुआ कि वहाँ से शाही नाला गुजर रहा है, जिसकी जानकारी न तो नगर निगम ने दी थी और न ही जलकल विभाग ने। निर्माण एजेंसी ने आरोप लगाया कि यदि नाले की जानकारी पहले मिलती तो उस स्थान का चयन ही नहीं होता।
यह आश्चर्यजनक है कि क्या नगर निगम और जलकल विभाग के पास अभी तक शाही नाले का कोई सटीक नक्शा मौजूद नहीं है। नाले की वास्तविक दिशा और उस पर बने अवैध निर्माणों की जानकारी भी स्पष्ट नहीं है, जिसके कारण रोपवे निर्माण में तकनीकी जोखिम तेजी से सामने आया है।
आगे की कार्रवाई और मरम्मत कार्य
अब जलकल विभाग ने नाले की मरम्मत करने और उसकी सटीक स्थिति का नक्शा उपलब्ध कराने के लिए एक सप्ताह का समय मांगा है। जब तक यह प्रक्रिया पूरी नहीं हो जाती, तब तक रोपवे निर्माण कार्य रोक दिया गया है। नगर आयुक्त ने स्पष्ट किया है कि नाले पर बने सभी मकान और दुकानें चिह्नित कर सील की जाएंगी और ज़रूरत पड़ने पर उन्हें ध्वस्त भी किया जाएगा।
क्या इस घटना से वाराणसी के अन्य विकास परियोजनाओं पर भी असर पड़ेगा, जहाँ पुराने और ऐतिहासिक ढाँचे ज़मीन के नीचे दबे हो सकते हैं?